Thursday, August 2, 2007

चलो अब किसान दशक मनाए

बहुत मना लिये विशेष दिवस और माह
चलो अब किसान दशक मनाए
भारतीय कृषि को
उच्चतम सोपान तक पहुँचाए

भले ही अब तक विकास किसानो का
विनाश करता रहा
और किसानो के हिस्से के सुख से
अमीरो के घर भरता रहा

पर अब अंतिम गाँव तक
सही विकास की गंगा बहाए
बहुत मना लिये विशेष दिवस और माह
चलो अब किसान दशक मनाए
भारतीय कृषि को
उच्चतम सोपान तक पहुँचाए

विदेशो की तकनीक को धता बता
स्वदेशी तकनीक से हो खेती
किसानो से भी हम सीखे
इसमे ही भलाई दिखाई देती

किसानी भाषा को शोध की भाषा बनाए
बहुत मना लिये विशेष दिवस और माह
चलो अब किसान दशक मनाए
भारतीय कृषि को
उच्चतम सोपान तक पहुँचाए

घाटे का सौदा समझी जाने वाली
खेती अब उन्नत बने
ताकि नयी पीढी का इसी मे
मन लगे

फिर सदियो तक कोई किसान आत्महत्या की
सोच भी ना पाए
बहुत मना लिये विशेष दिवस और माह
चलो अब किसान दशक मनाए
भारतीय कृषि को
उच्चतम सोपान तक पहुँचाए

पंकज अवधिया ‘दर्द हिन्दुस्तानी’

(c) सर्वाधिकार सुरक्षित

1 comment:

परमजीत सिहँ बाली said...

बहुत बढिया रचना है।बधाई।